To maintain the health and natural beauty of human beings, it is necessary to adopt cleanliness- Prof. Jain
Swachh Bharat Swasth Bharat Seminar organized
मनुष्य के स्वास्थ और प्राकृतिक सौंदर्य को बरकरार रखने के लिए स्वच्छता अपनाई जानी जरूरी- प्रो. जैन
स्वच्छ भारत स्वस्थ भारत सेमिनार का आयोजन
मनुष्य के स्वास्थ और प्राकृतिक सौंदर्य को बरकरार रखने के लिए स्वच्छता अपनाई जानी जरूरी- प्रो. जैन
स्वच्छ भारत स्वस्थ भारत सेमिनार का आयोजन
लाडनूं। जैन विश्वभारती संस्थान (मान्य विश्वविद्यालय) के शिक्षा विभाग में स्वच्छता पखवाड़े के अंतर्गत ‘स्वच्छ भारत स्वस्थ भारत’ सेमिनार का आयोजन किया गया। सेमिनार की अध्यक्षता विभागाध्यक्ष प्रो. बनवारीलाल जैन ने स्वच्छ भारत अभियान के विषय में जानकारी दी और छात्राध्यापिकाओं को व्यक्तिगत स्तर पर स्वच्छता को अपनाने की सलाह दी। इसके साथ ही उन्होंने भटकाव से आने वाली अस्वच्छता के बारे में बताते हुए छात्राओं को लक्ष्य पर टिके रहने की सलाह दी और कहा कि यदि लक्ष्य को भूल जाते हैं, तो भटक जाना संभव है। इससे जीवन में आलस्य अथवा गतिहीनता आ जाती है और उससे आगे चलकर अस्वच्छता को बढ़ावा मिलता है। प्रो. जैन ने स्वच्छ रहने के टिप्स, वातावरण को स्वच्छ रखने और मूल्यों का उदाहरण देकर स्वच्छता से संबंधित जानकारी दी। स्वच्छता मनुष्य और प्रकृति दोनों के लिए ही जरूरी बताते हुए मनुष्य के स्वस्थ रहने और प्राकृतिक सौंदर्य को बरकरार रखने के लिए स्वच्छता को अपनाना आवश्यक बताया। उन्होंने अस्वच्छता से डायरिया जैसी कई खतरनाक बीमारियों को बढ़ावा मिलने के बारे में बताया और वेस्ट मैनेजमेंट के लिए ‘फाईव आर’ सिस्टम के बारे में जानकारी दी। विभिन्न रंगों के डस्टबिन का प्रयोग कर विभिन्न प्रकार कूड़े के पृथक्करण की सलाह भी दी। प्रारम्भ में सेमिनार के संयोजक डॉ. विष्णु कुमार ने सेमिनार की रूपरेखा प्रस्तुत की। सेमिनार में सभी संकाय सदस्य व विद्यार्थी उपस्थित रहे।
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